किडनी में खराबी के लक्षण को अनदेखा करना पड़ सकता है भारी !

दुनिया के 70 प्रतिशत लोग आज किसी-न-किसी बीमारी से पीड़ित है| डायबिटीज़, ब्लड प्रेशर और हार्ट संबंधी समस्याएं तो अब मानो जैसे आम बात सी हो गई है| लेकिन शायद बहुत कम लोग ही जानते होंगे कि डायबिटीज़ और ब्लड प्रेशर जैसी छोटी बीमारियाँ कब आपकी किडनी के फेल होने का कारण बन जाती है कोई भी इसका अंदाज़ा नहीं लगा सकता है| अधिकतर लोगों को लगता हैं कि दवा लेने से डायबिटीज़ और ब्लड प्रेशर को कंट्रोल में रखा जा सकता हैं जी हाँ रखा जा सकता है| लेकिन मात्र दवाइयों से कब तब तक आप डायबिटीज़ और ब्लड प्रेशर को कंट्रोल में रख सकते है? बताइये इसकी कोई गारेंटी है क्या.....नहीं, आप मात्र दवाइयों को खाकर एक लंबे समय तक डायबिटीज़ और ब्लड प्रेशर को कंट्रोल में नहीं रख सकते इसलिए लिए जरूरी होता हैं दवाइयों के साथ बैलेंस डाइट प्लान को फॉलो करना|

आइये जानते है कि डायबिटीज़ और ब्लड प्रेशर का लेवल कंट्रोल न होने से कैसे बढ़ता है किडनी खराबी का खतरा और जाने किडनी खराब होने के लक्षण.

झागदार पेशाब आना:

किडनी में संक्रमण होने पर पेशाब में झाग आना शुरू हो जाता हैं| वैसे तो पेट में गर्मी के करना या पेट संबंधी रोग के कारण भी झागदार पेशाब हो सकता है लेकिन यदि आपके पेशाब में एक लम्बें समय से झाग आ रहा हैं तो इसे भूलकर भी अनदेखा न करें क्योंकि अधिकतर ऐसा देखा गया हैं कि झागदार पेशाब को पेट खराबी या पेट में गर्मी समझकर नजरंदाज़ कर देते हैं जो बाद में किडनी के ख़राब होने लक्षण के रूप में सामने आता है| जब आपको किडनी की खराबी की जानकारी मिलती है तब तक बहुत देर हो चुकी होती है क्योंकि किडनी पूरी तरह से संक्रिमित हो चुकी होती हैं और कुछ समय के बाद तो किडनी काम करना भी बाद कर देती हैं और डॉक्टर आपको दयालिलिस करवाने की सलाह देते है| लेकिन एक समय के बाद आपको डायलिसिस से भी आराम नहीं मिलता इसलिए हमारी सलाह हैं (ayurvedic kidney disease treatment without dialysis) कि पेशाब में किसी भी प्रकार के बदलाव नजर आने पर जाँच के बाद आयुर्वेदिक औषधियों से उपचार करवाएं और डायलिसिस से खुद को बचाएं और अपनी किडनी को स्वस्थ बनाएं|

शरीर के कई हिस्सों में सूजन आना:-

किडनी में किसी भी प्रकार की खराबी आने पर शरीर के कई हिस्सों में सूजन आने लगती है जो सामान्यता लीवर इन्फेक्शन का कारण भी हो सकती है| लेकिन शरीर में सूजन आने को अक्सर दूसरे कारणों से जोड़कर देखा जाता हैं और किसी भी प्रकार की जाँच के बिना ही शरीर में सूजन कम करने की दवाई खा लेते हैं| परिणाम ये होता हैं कि कुछ समय के बाद किडनी में इन्फेक्शन बढ़ने लगता है| इसलिए शरीर में नियमित रूप से सूजन रहने पर जांच अवश्य कराएं और जाँच के बाद आयुर्वेद के डॉक्टर से संपर्क करके आयुर्वेदिक औषधियों से इलाज करवाएं और किडनी को ख़राब होने से बचाएं|

भूख न लगना और कमजोरी:-

भूख न लगना भी इस बात का संकेत देती हैं कि आपका शरीर के महत्वपूर्ण अंग जैसे लीवर किडनी ठीक से काम नहीं कर रहें जिन्हें हम अक्सर अनदेखा कर देते है| अगर आपको अचानक भूख लगना बंद हो जाये तो समझ जाइये आप किसी बड़ी बीमारी से जूझ रहें हैं और इसका परिणाम भी घातक हो सकते हैं क्योंकि भूख न लगने को हम एक आम समस्या समझ लेते हैं और कुछ समय के बाद शरीर कमजोर पड़ने लगता हैं जो लीवर की खारबी या किडनी में किसी प्रकार की ख़राब के लक्षण भी हो सकते हैं| अगर आप लम्बे समय से भूख न लगने की समस्या से जूझ रहें हैं तो सबसे पहले आपको शारीरिक जाँच जरुर करवाना चाहिए क्योंकि बिना शरीर जाँच किये दवाई खाना आपकी बीमारी को बढ़ा सकती हैं| इसलिए भूख न लगने को नजरंदाज़ बिल्कुल भी न करें|

ब्लड शुगर को कंट्रोल में न रहना :-

ब्लड शुगर का नियंत्रित न रहना किडनी की खराबी का सबसे बड़ा कारण है| आपमें बहुत से लोग ब्लड शुगर नियंत्रित करने के लिए दवाई का सेवन करते होगे| लेकिन उससे भी उनका ब्लड शुगर कंट्रोल में नहीं रहता होगा जिसका एकमात्र कारण है परहेज न रखना| जी हाँ, खानपान में परहेज न रखने के कारण भी आपका ब्लड शुगर कंट्रोल में नहीं रहता क्योंकि आपमें से अधिकतर लोगों को इस बात का भ्रम हमेशा रहता हैं कि हम तो ब्लड शुगर को कंट्रोल करने की दवाई ले रहें हैं तो हमें खाने पीने में परहेज रखने की क्या जरूरत हैं| जो कुछ समय के बाद आपकी किडनी में संक्रमण बढ़ने का कारण बनती हैं क्योंकि ब्लड शुगर की समस्या में परहेज न रखने पर अन्दर हीं अन्दर आपकी किडनी संक्रिमित होने लगती हैं| जिसके कारण आपको किडनी संबंधी समस्याओं का सामना करना पड़ता है| ब्लड शुगर को कंट्रोल करने के लिए आयुर्वेदिक औषधी और खान-पान में परहेज करके किडनी को ख़राब होने से बचा सकते हैं|

वजन को नियंत्रित रखें:-

बढ़ता हुआ वजन बहुत सी बिमारियों को निमंत्रण देता है| जिनमें किडनी संबंधी समस्या प्रमुख है क्योंकि आपका वजन जितनी तेजी से बढेगा उतना ही किडनी के कार्य करने की क्षमता पर जोर पड़ेगा| साथ ही वजन बढ़ने से आपका मोटाबोलिज्म भी ठीक से काम नहीं करता| जिसके कारण शरीर में फैट जमा होने लगता हैं इलसिए आपको हमेशा से मैदा फ़ास्टफ़ूड और बाहर के खाने को नहीं खाना चाहिए क्योंकि मैदा और फ़ास्टफ़ूड खाने से वजन तेजी से बढ़ता है मैदा आपकी आतों में जम जाता है जो आपके लीवर और किडनी के लिए नुकसान दायक होता हैं| इसलिए आपको अपने वजन कंट्रोल में रखना चाहिए|

किडनी शरीर का सबसे संवेदनशील अंग हैं| इसलिए आपको अपने खाने पीने पर विशेष रूप से ध्यान देने की आवश्यकता होती हैं| आप अपने खाने में कम मसालेदार और विशेष रूप से सिमित मात्रा में नमक का सेवन करके किडनी की खराबी जैसी समस्या से खुद को बचा सकते हैं| यदि आपको किडनी संबंधी कोई परेशानी होती है तो सबसे पहले अपने डॉक्टर से संपर्क करें और डॉक्टर की सलाह पर ही दवाइयों का सेवन करें बिना किडनी की जाँच से खुद से कोई दवाई न खाएं ऐसा करना से आपकी किडनी की ख़राब होने की संभावना अधिक बढ़ जाती हैं| अपनी डाइट में संतुलित आहार का सेवन करें यदि आप किडनी संबंधी समस्या से ग्रसित हैं तो आयुर्वेदिक ओषधियों से भी आप उपचार करवा सकते हैं|

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